NEET UG 2025 Big Update: नीट यूजी 2025 परीक्षा को लेकर आई बड़ी खबर। परीक्षा के दौरान हुई गड़बड़ी पर मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने सुनाया ऐतिहासिक आदेश।
NEET UG 2025 (नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट अंडरग्रेजुएट) को लेकर देशभर में चर्चाएं चल रही थीं, लेकिन अब एक नया मोड़ आया है। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने एक ऐतिहासिक निर्णय देते हुए 75 छात्रों को फिर से नीट यूजी परीक्षा देने का मौका देने का आदेश जारी किया है। यह फैसला उन विद्यार्थियों के लिए राहत लेकर आया है, जिनकी परीक्षा के दौरान तकनीकी गड़बड़ियां और अव्यवस्थाएं सामने आई थीं।

⚖️ मामले की पूरी पृष्ठभूमि
दरअसल, नीट यूजी परीक्षा 2025 के दौरान कुछ केंद्रों पर टेक्निकल और प्रशासनिक गलतियां सामने आई थीं। छात्रों ने समय पर प्रश्नपत्र नहीं मिलने, उत्तर पुस्तिकाएं देर से मिलने और पर्यवेक्षण में खामी की शिकायतें दर्ज कराईं। इन कारणों से परीक्षा का पूरा माहौल प्रभावित हुआ, जिससे छात्रों को मानसिक तनाव और असमान परीक्षा परिस्थिति का सामना करना पड़ा।
छात्रों ने इस अन्याय के खिलाफ कोर्ट का रुख किया, जहां उनकी याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने ये फैसला सुनाया कि 75 प्रभावित छात्रों को दोबारा नीट यूजी परीक्षा देने का अधिकार मिलेगा।
📌 हाई कोर्ट के आदेश में क्या है खास?
हाईकोर्ट ने अपने निर्णय में यह स्पष्ट किया कि:
- परीक्षा केंद्र की लापरवाही छात्रों के करियर के साथ खिलवाड़ है।
- तकनीकी कारणों से जिन छात्रों की परीक्षा प्रभावित हुई है, उनके साथ न्याय किया जाना जरूरी है।
- दोबारा परीक्षा की तिथि और प्रक्रिया जल्द घोषित की जाएगी।
- परिणाम घोषित करने से पहले दोबारा परीक्षा संपन्न कराना अनिवार्य होगा।
👨🎓 छात्रों की प्रतिक्रिया
इस आदेश के बाद से छात्रों के बीच खुशी और उम्मीद की लहर दौड़ गई है। कई छात्रों ने सोशल मीडिया और मीडिया से बातचीत में कहा कि कोर्ट ने उन्हें न्याय दिलाया है। एक छात्रा ने बताया, “परीक्षा के दिन 15 मिनट देर से प्रश्नपत्र मिला और हम काफी तनाव में थे। अब कोर्ट के फैसले से नई उम्मीद जागी है।”
🧑🏫 शिक्षाविदों और विशेषज्ञों की राय
शिक्षा विशेषज्ञों ने हाई कोर्ट के इस फैसले को एक मिसाल बताया है। उनके अनुसार, यह निर्णय देशभर के परीक्षा सिस्टम को अधिक पारदर्शी और जवाबदेह बनाने में मदद करेगा। कई शिक्षाविदों ने यह भी कहा कि भविष्य में ऐसी गलतियों को रोकने के लिए सख्त गाइडलाइंस और तकनीकी निगरानी की जरूरत है।
🔍 नीट परीक्षा प्रणाली पर उठते सवाल
NEET जैसे महत्वपूर्ण परीक्षा में बार-बार गड़बड़ियों का सामने आना अब सवाल खड़े कर रहा है। लाखों छात्र हर साल इस परीक्षा में भाग लेते हैं, ऐसे में तकनीकी और प्रशासनिक चूक न केवल छात्रों के भविष्य को प्रभावित करती है, बल्कि परीक्षा की विश्वसनीयता पर भी प्रश्नचिह्न लगाती है।
कुछ प्रमुख समस्याएं जो इस वर्ष सामने आईं:
- टाइमिंग एरर (प्रश्नपत्र देर से मिलना)
- मशीन द्वारा गलत बायोमेट्रिक स्कैनिंग
- गलत प्रश्न पत्र वितरण
- पर्यवेक्षकों की लापरवाही
📆 अब आगे क्या होगा?
अब जबकि कोर्ट ने दोबारा परीक्षा का आदेश दिया है, तो राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (NTA) को:
- एक नई परीक्षा तिथि घोषित करनी होगी।
- परीक्षा की निष्पक्षता सुनिश्चित करनी होगी।
- प्रभावित छात्रों को सभी सूचना समय पर उपलब्ध करानी होगी।
- किसी भी प्रकार की तकनीकी खामी को रोकने के लिए बेहतर उपाय करने होंगे।
📝 छात्रों के लिए जरूरी बातें
अगर आप उन 75 छात्रों में शामिल हैं जिन्हें दोबारा परीक्षा देने का मौका मिलेगा, तो ध्यान रखें:
- ऑफिशियल वेबसाइट (nta.ac.in) पर नजर बनाए रखें।
- फिर से एडमिट कार्ड जारी किया जाएगा।
- परीक्षा केंद्र की जानकारी एडमिट कार्ड में दी जाएगी।
- परीक्षा का पैटर्न और सिलेबस पहले जैसा ही रहेगा।

🧠 मनोवैज्ञानिक रूप से तैयार रहें
इस पूरी प्रक्रिया ने छात्रों को मानसिक रूप से झकझोर दिया है। इसलिए जरूरी है कि छात्र मानसिक संतुलन बनाए रखें:
- सकारात्मक सोच रखें।
- अपनी पढ़ाई की रफ्तार बनाए रखें।
- अधिक तनाव न लें।
- जरूरत हो तो काउंसलर या शिक्षक से बात करें।
नीट यूजी 2025 पर ऐतिहासिक फैसला
NEET UG 2025 में हुई गड़बड़ियों को लेकर मध्य प्रदेश हाईकोर्ट का यह फैसला न सिर्फ 75 छात्रों के लिए राहत है, बल्कि पूरे देश की परीक्षा प्रणाली के लिए एक चेतावनी भी है। यह दिखाता है कि न्यायपालिका छात्रों के अधिकारों की रक्षा के लिए पूरी तरह से सजग है।
अब सभी की निगाहें NTA की तरफ हैं कि वह कैसे इस फैसले को लागू करता है और छात्रों को निष्पक्ष मौका देता है।